इग्नू द्वारा पाँच दिवसीय आत्मरक्षा प्रशिक्षण शिविर का आयोजन
इन्दिरा गाँधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय (इग्नू), क्षेत्रीय केंद्र लखनऊ में संचालित राष्ट्रीय सेवा योजना के सात दिवसीय विशेष शिविर में आत्मरक्षा प्रशिक्षण शिविर का आयोजन आज दिनांक 21 फरवरी 2019 को किया गया। यह कार्यक्रम डैªगन एकादमी आॅफ मार्शल, लखनऊ एवं इग्नू के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित किया जा रहा है। कार्यक्रम का आरम्भ दीप-प्रज्जवलन के साथ हुआ। कार्यक्रम में लगभग 200 विद्यार्थियों ने भाग लिया।
क्षेत्रीय निदेषक, डाॅ0 मनोरमा सिंह ने इस कार्यक्रम में आए गणमान्य अतिथियों एवं विद्यार्थियों का स्वागत करते हुए कहा कि शिक्षा एक ऐसा अस्त्र है जो समाज में व्यापक परिवर्तन ला सकता है और इस परिवर्तन के माध्यम से समाज में समानता की स्थापना की जा सकती है। डाॅ0 सिंह ने यह भी कहा कि शिक्षा से सशक्तीकरण एक सुदृढ़ विकल्प है जिसके माध्यम से महिलाओं को शिक्षित करते हुए रोजगार तथा अनेक उद्यमों को प्रारम्भ करने के लिए अवसर प्रदान किया जा सकता है। उन्होंने आत्मरक्षा प्रशिक्षण के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि शिक्षा एवं आत्मरक्षा द्वारा ही महिला सशक्तिकरण किया जा सकता है।
डाॅ0 कीर्ति विक्रम सिंह, सहायक क्षेत्रीय निदेशक व कार्यक्रम अधिकारी, एनएसएस ने अपने सम्बोधन में बताया कि ये विशेष शिविर दिनांक 17 फरवरी से 23 फरवरी 2019 तक दुबग्गा स्थित मलिन बस्ती में किया जा रहा है। प्रत्येक दिन बस्ती वासियों के विकास से जुड़े मुद्दों पर विशेषज्ञों द्वारा चर्चा की जाएगी। साथ ही माध्यमिक विद्यालय के विद्यार्थियों के लिए एक निःशुल्क कम्प्यूटर प्रशिक्षण कार्यक्रम का भी आयोजन किया जाएगा। साथ ही साथ मलिन बस्ती में निवास कर रहे बच्चों एवं युवाओं को आत्मरक्षा की तकनीकों के विषय में अवगत कराया जायेगा।
कार्यक्रम की विशिष्ठ अतिथि श्रीमती श्वेता श्रीवास्तव (पी0पी0एस0), डिप्टी एस0पी0 (डायल 100) ने महिला सशक्तिकरण के लिए इग्नू द्वारा किये जा रहे प्रयासों की सरहना की और यू0पी0 पुलिस द्वारा डायल 100 एवं 1090 के माध्यम से महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए किये जा रहे प्रयासों की विस्तार से चर्चा की।
श्री ज्ञान प्रकाश त्रिपाठी, सचिव, डैªगन एकेडमी आॅफ मार्शल आटर््स, लखनऊ ने आत्मरक्षा प्रशिक्षण कार्यक्रम के उद्देश्यों पर प्रकाश डालते हुए, आत्मरक्षा की कुछ तकनीकों का प्रदर्शन भी किया। उन्होनें कहा कि आज के समय में प्रत्येक व्यक्ति को अपनी रक्षा करने के लिए तकनीकों को जानना आवश्यक है। यह तकनीकें व्यक्ति को न केवल शारीरिक रूप से सक्षम बनाती है, अपितु उनके मनोबल में भी वृद्धि करती हैं।