मानसून सत्र में स्टाॅक परिसमाप्त न होने पर अनुज्ञप्ति रद्द करने के साथ हीप्रतिभूति जमा राशि को जब्त करने के सख्त निर्देश उपखनिजों की जमाखोरी करने पर होगी कठोर कार्यवाही भण्डारण अनुज्ञाधारक बालू व मौरम की निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करें -डाॅ0 रोशन जैकब

लखनऊ: 10 जुलाई, 2019

उत्तर प्रदेश सरकार ने मानसून सत्र में जनसामान्य को उपखनिज बालू व मौरम की निर्बाध रूप से आपूर्ति सुनिश्चित किये जाने हेतु जनपदों में स्वीकृत समस्त खनिजों के भण्डारण अनुज्ञाधारकों को भण्डारित बालू व मौरम का नियमित निस्तारण करने के निर्देश दिये हैं। इसके साथ ही मानसून अवधि में स्टाक परिसमाप्त न होने पर जिलाधिकारी द्वारा अनुज्ञप्ति रद्द कर प्रतिभूति जमा राशिको जब्त करने के भी निर्देश दिये गये हैं।

यह जानकारी भूतत्व एवं खनिकर्म निदेशक डाॅ0 रोशन जैकब ने दी। उन्होंने बताया कि प्रदेश में उपखनिजों की आपूर्ति बनाये रखने के लिए बालू के 96 तथा मौरम के 106 भण्डारण अनुज्ञप्ति स्वीकृत किये गये हैं। स्वीकृत भण्डारों में बालू की मात्रा 10,22,235 घन मी0 तथा मौरम की मात्रा 12,87,147 घन मी0 भण्डारित है, जो प्रदेश में मानसून सत्र में उपयोग किये जाने हेतु पर्याप्त है। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश खनिज (अवैध खनन, परिवहन एवं भण्डारण का निवारण) नियमावली-2018 में प्राविधानित शर्तों के अधीन जिलाधिकारी द्वारा भण्डारण अनुज्ञप्ति स्वीकृत किये गये हैं। नियमावली के प्रावधानों के अनुसार नदी तल के खनिज हेतु 30 सितम्बर को समाप्त होने वाली प्रत्येक मानसून अवधि में अनुज्ञाप्तिधारी को अपने 90 प्रतिशत स्टाक के परिसमाप्त (सपुनपकंजपवद) कर लिया जाना है। मानसून अवधि में स्टाकपरिसमाप्त (सपुनपकंजपवद) न होने पर जिलाधिकारी द्वारा अनुज्ञप्ति रद्द कर प्रतिभूति जमा राशि को जब्त (वितमिपज) करने की कार्यवाही की जायेगी।

डाॅ0 रोशन जैकब ने बताया कि जनपद में स्वीकृत समस्त खनिजों के भण्डारण अनुज्ञाधारकों को भण्डारित बालू/मौरम का नियमित निस्तारण कराने तथा आवश्यक कार्यवाही का नियमित अनुश्रवण भी करने हेतु समस्त जिलाधिकारियों को निर्देशित किया गया है, जिससे उपखनिज बालू/मौरम की निर्बाध आपूर्ति बनी रहे तथा मूल्य में वृद्धि भी नहो।

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